इटारसी में कोरोना के डर से फिर हुए कई फैसले

भारतभूषण आर. गांधी

इटारसी में धीरे धीरे ही सही अब लोग कोरोना के भयावह रूप को जानने लगे हैं और इसीलिए इटारसी को एक बार फिर पूर्ण लॉकडाउन करने की चर्चा होने लगी है। लॉकडाउन को लेकर शनिवार को ऑडिटोरियम में विधायक डॉ. सीताशरण शर्मा और एसडीएम मदनसिंह रघुवंशी की मौजूदगी में व्यापारियों के साथ बैठक हुई। बैठक में जो निर्णय लिए गए उनमें लॉक डाउन को लेकर सहमति नहीं बनी क्योंकि शासन की ओर से लॉकडाउन को लेकर कोई दिशा निर्देश नहीं हैं इसलिए स्थानीय प्रशासन अपनी ओर से लॉकडाउन को स्थानीय स्तर पर लागू नहीं कर रहा है।

बैठक में जिन बातों पर सहमति बनी है उनमें सुबह दस से शाम छः बजे तक बाज़ार खोलने,  चाट ठेले रात नौ बजे तक खुले रहने, शनिवार रविवार बाज़ार बंद रखने, धारा 144 लागू रखने जैसे फैसले शामिल हैं।  जिन परिवारों में कोई व्यक्ति संक्रमित हो तो उसे अपनी दुकान बंद रखनी होगी। यदि दुकान खुली दिखाई दे तो सम्बंधित व्यापारी संगठन के लोग उन्‍हें समझाइश दें और न मानने की दशा में पुलिस प्रशासन की मदद लें।

इन सभी बातों की जानकारी के सम्बन्ध में संगठनों के पदाधिकारियों में यज्ञदत्त गौर, भारतभूषण गाँधी लच्छू और गोविन्द बांगड़ से बात की तो उनकी उनकी अलग अलग राय थी। गोविन्द बांगड़ का कहना था कि किसी संक्रमित या संक्रमित परिवार के दुकानदार की दुकान को बंद करवाने की सूचना देना तो ठीक है लेकिन उनकी दुकान पर जाकर समझाइश देने पर बैर बढ़ने की आशंका है। लच्छु गाँधी का कहना था कि उनकी विधायक जी से बात हुई है उनका स्पष्ट मानना है कि जिम्मेदारी तो लेनी पड़ेगी, इससे बचने से काम नहीं चलेगा। वहीँ यज्ञदत्त गौर का कहना है कि प्रशासन को सामाजिक संगठनों की भी मदद लेना चाहिए ताकि वो संक्रमित/चिन्हित लोगों के परिवारों तथा प्रभावित की आशंका में आने वालों को समझाइश दे सकें। हालाँकि बैठक में हुए निर्णयों से वो सहमत थे लेकिन शासन से और ठोस कदम उठाने की आशा रखते हैं।

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