जल संरक्षण वर्तमान समय की सबसे बड़ी जरूरत

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पिछड़ा वर्ग की छात्राओं के लिये बनने वाले देश के सबसे बड़े 500 सीटर पोस्ट मेट्रिक छात्रावास के निर्माण की आधारशिला आज इंदौर में लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने रखी। कार्यक्रम की अध्यक्षता मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने की। कार्यक्रम में केन्द्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री थावरचंद गेहलोत विशेष अतिथि थे।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य शासन द्वारा प्रदेश में शिक्षा सुविधाओं के विस्तार की लगातार पहल की जा रही है। उनका प्रयास है कि कोई भी बच्चा सुविधा एवं धन के अभाव में शिक्षा से वंचित न रहे। श्री चौहान ने कहा कि अगले वर्ष से मेडिकल, इंजीनियरिंग कॉलेजों और अन्य उच्च शिक्षण संस्थाओं में मेरिट के आधार पर प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों की फीस राज्य शासन भरेगा। नौकरी लग जाने के बाद संबंधित विद्यार्थी को यह फीस वापस करनी होगी। योजना का लाभ सभी वर्ग के प्रतिभावान विद्यार्थियों को मिलेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि सामान्य वर्ग के बच्चों को भी अब स्कॉलरशिप दी जायेगी।

श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में जल एवं पर्यावरण संरक्षण पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि हमने अगर अभी पेड़ और पानी को नहीं बचाया तो मानव जीवन संकट में पड़ जायेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि देवउठनी ग्यारस से प्रदेश में नर्मदा नदी के दोनों किनारों पर फलदार पौधे लगाने का अभियान प्रारंभ होगा। अभियान के अंतर्गत शासकीय एवं निजी भूमि पर फलदार पौधे लगाये जायेंगे। आवश्यकता पड़ने पर जिस किसान की भूमि वृक्षारोपण के लिये ली जायेगी उसे शासकीय दर से किराया मुआवजे के रूप में दिया जायेगा। यह किराया फलदार पौधा बड़े होने तक मिलेगा।

लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने कहा कि वर्तमान समय की सबसे बड़ी जरूरत जल का संरक्षण है। जल संरक्षण के लिये पूरे प्रदेश में अभियान चलाया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि समय की जरूरत को पहचान कर इंदौर में प्रारंभ किये गये रैन-वाटर हार्वेस्टिंग और जल-संरक्षण अभियान के बेहतर परिणाम अब दिखाई देने लगे हैं। लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि शिक्षण संस्थाएँ दूर होने से ग्रामीण क्षेत्र के अभिभावक अपनी बच्चियों को उच्च शिक्षा पाने नहीं भेज पाते हैं। इस तरह के छात्रावास बनने से अब अभिभावकों की चिंता दूर होगी और वे बच्चियों को आगे की पढ़ाई जारी रखने छात्रावासों में भेजेंगे।

केन्द्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री श्री थावरचंद गेहलोत ने कहा कि उनके विभाग द्वारा पिछड़ा वर्ग की छात्राओं के लिए देश के सबसे बड़े छात्रावास का निर्माण इंदौर में किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इंदौर में विभाग द्वारा कबड्डी स्टेडियम भी बनवाया जायेगा। इसके साथ ही प्रदेश के अन्य क्षेत्रों में आवश्यकता अनुरूप छात्रावास बनाये जायेंगे। श्री गेहलोत ने कहा कि भोपाल में दिव्यांगजनों के लिये 50 करोड़ रुपये लागत से प्रशिक्षण एवं समग्र कल्याण केन्द्र स्थापित किया जा रहा है। इसके साथ ही ग्वालियर में 50 करोड़ की राशि व्यय कर नेशनल स्पोर्टस सेन्टर की स्थापना की जा रही है। उज्जैन में दिव्यांगजनों के लिये कृत्रिम अंग एवं उपकरण बनाने का कारखाना स्थापित किया जा रहा है। केन्द्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश के प्रत्येक संभाग एवं जिले में 100-100 सीट के छात्रावास भी बनाये जायेंगे।

पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं श्रम मंत्री श्री अंतर सिंह आर्य ने कहा कि इंदौर में धार रोड पर श्रमिकों के बच्चों के लिये श्रमोदय विद्यालय खोला जायेगा। राज्य शासन ने राज्य के 50 जिले में एक-एक 100 सीटर पोस्ट मेट्रिक छात्रावास एवं 50 सीटर पोस्ट मेट्रिक कन्या छात्रावास स्थापित करने का निर्णय लिया है। प्रदेश में शिक्षा के बढ़ते हुए अवसरों को ध्यान में रखकर भोपाल, जबलपुर एवं ग्वालियर में भी 500-500 सीटर पिछड़ा वर्ग पोस्ट मेट्रिक कन्या छात्रावास बनाये जायेंगे।

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