संस्कृति विभाग द्वारा सिंहस्थ कुम्भ की बेला में सांस्कृतिक और सृजनात्मक वातावरण बनाने के लिये उज्जैन में पद्मभूषण पंडवानी गायिका तीजनबाई की प्रस्तुति से अनुगूँज-3 मंगलवार से शुरू हुआ।
मोक्षदायिनी पावन सलिला माँ क्षिप्रा के रामघाट पर दूधिया रोशनी में रंगारंग कार्यक्रम में तीजनबाई ने महाभारत के विभिन्न प्रसंग को अपने पंडवानी गायन के माध्यम से प्रस्तुत किया। पंडवानी गायन में सह-कलाकार रागी गायक रामचन्द्र विशाद, हारमोनियम पर तीरेन्द्र कुमार यदु, तबले पर केवल देशमुख, ढोलक पर डालेश्वर निर्मलकर, बेंजों पर नरोत्तम नेताम और ढपली पर मनहरन सारवाने ने संगत दी। मुख्य अतिथि विधायक डॉ. मोहन यादव ने प्रसिद्ध लोक-गायिका सुश्री संजो बघेल के लोक-भजनों की सिंहस्थ आमंत्रण पर केन्द्रित सी.डी. का विमोचन भी किया। सी.डी. में सिंहस्थ के महत्व को बताते हुए 12 लोक-गीतों का संग्रहण है।
प्रतिभा-खोज में हो रही हैं मनमोहक प्रस्तुतियाँ
अनुगूँज-3 में प्रतिभा-खोज योजना में प्रदेश के चयनित कलाकार अपनी कला की प्रस्तुति दे रहे हैं। युवा कलाकार शास्त्रीय संगीत, सुगम संगीत, लोक-गीत आदि की प्रस्तुति दे रहे हैं। अनुगूँज-3 में प्रदेश के 1500 युवा कलाकार अपनी कला-प्रतिभा का प्रदर्शन करेंगे। प्रतिभा-खोज अभियान में चित्रकारी और साहित्य की विभिन्न विधाओं पर केन्द्रित गतिविधियाँ भी होंगी।