भोपाल, दिसम्बर 2014/ प्रदेश के किसानों द्वारा बासमती धान के उत्पादन में दिखाई जा रही रूचि का यह सुफल है कि खरीफ वर्ष 2014 में मध्य प्रदेश में लगभग 9.00 लाख मीट्रिक टन बासमती धान के उत्पादन की संभावना है।
वर्ष 2013 में प्रदेश तथा देश में बासमती धान के तुलनात्मक रूप से कम उत्पादन तथा अन्तर्राष्ट्रीय बाजार में इसकी अच्छी माँग होने से प्रदेश के किसानों को औसतन 3200 से 3500 प्रति क्विंटल के भाव मिले। वर्ष 2014 में प्रदेश के साथ देश में बासमती धान के विपुल उत्पादन और राष्ट्रीय तथा अन्तर्राष्ट्रीय माँग में कमी होने के कारण धान प्र-संस्करणकर्ताओं द्वारा वर्ष 2013 की तुलना में 1000 से 1500 रुपये प्रति क्विंटल कम भाव किसानों को दिये जा रहे थे। राज्य शासन ने स्थिति की सम्पूर्ण समीक्षा कर किसानों को बासमती धान के प्रतिस्पर्धात्मक मूल्य दिलवाने के लिए 9 दिसम्बर 2014 से 31 मई 2015 तक प्रदेश में उत्पादित बासमती धान को मंडी फीस के भुगतान से मुक्त किया एवं अन्य राज्यों के प्रमुख बासमती धान खरीदने हेतु प्रोत्साहित किया जा रहा है। बासमती धान प्रधान मंडियों में मंडी बोर्ड मुख्यालय से दल भेजकर निरीक्षण करवाया जा रहा है। किसानों को आस-पास की मुख्य मंडियों एवं अन्य राज्यों की मंडियों में बासमती धान के भाव की जानकारी प्रदर्शित एवं उदघोषणा कर सूचित की जा रही है।
प्रदेश की मंडियों में राज्य शासन के इस कदम से बढ़ी हुई प्रतिस्पर्धा से दिनोंदिन बासमती धान के गिरे भावों में स्थिरता आई है और किसानों को लगभग 2000 से 2300 रुपये प्रति क्विंटल के भाव प्राप्त हो रहे हैं। प्रदेश में सर्वाधिक रूप से पूसा-1121 बासमती धान का उत्पादन होता है। इस प्रजाति की धान के भाव पंजाब एवं हरियाणा में वर्तमान में लगभग 2300 से 2500 रुपये प्रति क्विंटल है।
राज्य शासन द्वारा प्रतिदिन स्थिति की समीक्षा की जा रही है। भविष्य में स्थिति अनुसार और भी आवश्यक कार्यवाही की जायेगी।