उज्जैन में 22 अप्रैल से 21 मई तक होने वाले सिंहस्थ के लिये साधु-संतों के रहवास-स्थल और पण्डालों पर बिजली कनेक्शन बिल्कुल
फ्री में दिये जा रहे हैं। कम्पनी के कार्मिक पण्डालों पर स्वयं पहुँचकर बिजली कनेक्शन देने का काम कर रहे हैं। विद्युत खम्बे से मीटर
तक सर्विस लाइन भी फ्री में लगायी जा रही है। इस व्यवस्था पर राज्य सरकार करीब सवा 4 करोड़ का आर्थिक भार स्वयं वहन कर रही
है। सिंहस्थ मेला क्षेत्र में अब तक करीब 400 आश्रम और पण्डाल में बिजली कनेक्शन दिये जा चुके हैं।
अवकाश पर लगा प्रतिबंध
सिंहस्थ का महीना एक अप्रैल से प्रारंभ हो गया है। सिंहस्थ को सफल बनाने के लिये उज्जैन जिला कलेक्टर ने सिंहस्थ ड्यूटी में लगे
सभी सरकारी कार्मिकों के अवकाश पर 31 मई तक प्रतिबंध लगा दिया है। कार्मिकों से सार्वजनिक अवकाश के दिनों में भी कलेक्टर की
बिना पूर्व अनुमति के मुख्यालय न छोड़ने के लिये कहा गया है। ड्यूटी पर लगे अमले को अपने मोबाइल निरंतर चालू रखने के लिये कहा
गया है।
तीर्थ-यात्रियों का मार्गदर्शन करेंगे स्वयंसेवक
सिंहस्थ के दौरान 5500 स्वयंसेवक तीर्थ-यात्रियों का मार्गदर्शन करेंगे। इनमें राष्ट्रीय सेवा योजना, स्काउट एण्ड गाइड, कांग्रेस सेवा दल
और एनसीसी केडेट्स शामिल हैं। स्वयंसेवकों के लिये स्थान चयनित कर लिये गये हैं। स्वयंसेवकों को सिंहस्थ की जानकारी देने के साथ
प्रशिक्षण भी दिलवाया गया है। श्री प्रखर परोपकार मिशन ने 50 बिस्तर का केम्प हॉस्पिटल लगाने का निर्णय लिया है। इस अस्पताल में
मरीजों का नि:शुल्क उपचार किया जायेगा। माइनर ऑपरेशन के लिये थियेटर भी बनाया जा रहा है। प्रख्यात सर्जन भी सिंहस्थ के दौरान
सेवाएँ देंगे। परोपकार मिशन इलाहाबाद, नासिक और हरिद्वार में लगने वाले कुम्भ में भी अपनी सेवाएँ दे चुका है।