भोपाल, सितम्बर 2014/ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मध्यप्रदेश की सभी जेल की समग्र स्थितियों की सघन जाँच के निर्देश दिये हैं। उन्होंने निर्देशित किया है कि इंदौर जेल जैसी घटना की पुनरावृत्ति नहीं हो। श्री चौहान ने इंदौर की जेल में गुरूवार को हुई वारदात तथा विभाग द्वारा की जा रही कार्रवाई की जानकारी ली। गृह मंत्री बाबूलाल गौर भी बैठक में उपस्थित थे।
श्री चौहान ने कहा कि जेल के भीतर वारदात होना अत्यंत गंभीर मामला है। इसके पीछे कौन हैं, घटना किन परिस्थितियों में हुई, जेल की सुरक्षा व्यवस्था में लीकेज कहाँ है आदि सभी की व्यापक और बिन्दुवार जाँच की जाय। उन्होंने निर्देश दिये कि प्रदेश की सभी जेल में लगातार चेकिंग की नियमित प्रक्रिया चलाई जाए।
बैठक में इंदौर की केन्द्रीय जेल के बारे में बताया गया कि वहाँ 16 मीटर ऊँचाई की दूसरी दीवार बनायी जायेगी। लगभग साढ़े तीन करोड़ रूपये की इस परियोजना के लिये 74 लाख का बजट मिल गया है। दीवार के निर्माण में दो वर्ष का समय लगने की जानकारी देने पर मुख्यमंत्री ने कहा कि निर्माण की अत्याधुनिक तकनीकी उपलब्धता के बावजूद इतना समय नहीं लगना चाहिए। उन्होंने कार्य शीघ्र पूर्ण करवाने के निर्देश दिए। जानकारी दी गयी कि जेल के भीतर सभी सामग्री स्केन होकर ही पहुँचती है। इंदौर सहित प्रदेश की सभी जेलों में चेकिंग बढ़ा दी गयी है। इंदौर जेल में कट्टा दीवार से फेंक कर भेजे जाने की जानकारी दी गयी। कट्टा भेजने वालों को पकड़ लिया है। बताया गया कि सांवेर रोड स्थित निर्माणाधीन जेल का काम पिछले वर्षों से बंद है। इसमें कोई 125 करोड़ का व्यय होना है। श्री चौहान ने जेल का निर्माण कार्य भी पूर्ण करने का प्रस्ताव प्रस्तुत करने के निर्देश दिये।