भोपाल, दिसम्बर 2015/ लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने इंदौर में सिविल इंजीनियरों के संगठन भारतीय रोड कांग्रेस के 76वें अधिवेशन का शुभारंभ किया। समारोह की अध्यक्षता केन्द्रीय भू-तल परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने की। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान विशेष अतिथि के रूप में मौजूद थे। आगामी 22 दिसम्बर तक चलने वाले अधिवेशन में सड़क तथा पुल-निर्माण संधारण, संरक्षण, सड़क सुरक्षा सहित अहम विषयों पर विशेषज्ञों द्वारा विचार-विमर्श किया जाएगा।
समारोह में लोकसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा महाजन ने कहा कि शहरों के साथ-साथ ग्रामीण क्षेत्रों का भी तेजी से विकास हो रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों में बनने वाली मुख्य सड़कों और पुल-पुलियाओं की डिजाइन पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। डिजाइन के कारण सड़क और पुल-पुलियाएं दुर्घटना का कारण तथा तकनीकी खामियां दिखाई देने पर उसका प्रतिवाद करने में संकोच नहीं किया जाए। विकास योजना बनाते समय दृढ़ इच्छा-शक्ति, जवाबदेही तथा पारदर्शिता रखी जाए। सभी कार्य समर्पण, जवाबदेही और ईमानदारी के साथ किये जाए। योजनाएं दूरगामी दृष्टिकोण के साथ बने और उसका दृढ़ता के साथ क्रियान्वयन हो।
श्री नितिन गडकरी ने कहा कि किसी भी देश की प्रगति में सड़कों और विकास में सिविल इंजीनियरों का अहम योगदान होता है। उन्होंने कहा कि सड़कों और पुलों के निर्माण में कुछ तकनीकी खामियां दुर्घटना का बड़ा कारण बनती हैं। हर वर्ष सड़क दुर्घटनाओं में लाखों लोग हताहत होते हैं और बड़ी संख्या में प्रति वर्ष लोगों की मृत्यु हो जाती है। उन्होंने प्रतिनिधियों का आव्हान किया कि दुर्घटना का कारण बनने वाली तकनीकी खामियों को दूर करने के वे उपाय बतायें। श्री गडकरी ने कहा कि सड़कों की लागत कम करने तथा उसकी गुणवत्ता को बेहतर बनाने के लिये दृढ इच्छा-शक्ति के साथ कार्य करने की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि समय पर कार्य स्वीकृत तथा निर्धारित समय पर पूर्ण करने की आदत डालना होगी। त्वरित निर्णय लेकर सकारात्मक दृष्टिकोण, पारदर्शिता, दृढ इच्छा-शक्ति और टीम भावना के साथ कार्य करना चाहिए। अच्छे कार्य करने वालों को सम्मान मिले और गलत कार्य करने वालों के विरूद्ध कार्रवाई की जाए। उन्होंने राष्ट्रीय स्तर पर सर्वश्रेष्ठ किसान और सर्वश्रेष्ठ इंजीनियरों को पुरस्कृत करने की जरूरत भी बतायी।
श्री शिवराजसिंह चौहान ने कहा कि बेहतर सड़कें समृद्धि और विकास का मूल आधार है। मध्यप्रदेश में सड़कों का जाल बिछाया गया है। प्रदेश में बेहतर सड़के बनने से विकास को नयी गति मिली है। विकास दर बढ़कर दोहरे अंक में पहुंच गयी है। सड़क निर्माण से व्यवसाय एवं उद्योगों के लिये बेहतर वातारण बना है। किसान अब आसानी से अपनी उपज बाजार तक ला रहे हैं। कृषि विकास दर में भी उल्लेखनीय वृद्धि हुयी है। राज्य सरकार की मंशा है कि नर्मदा के जल को क्षिप्रा से जोड़ने के बाद कालीसिंध और बेतवा नदी में भी नर्मदा का पानी मिलाया जाएगा। पीपीपी (पब्लिक प्रायवेट पार्टनरशिप) से सड़कों का जाल बिछाया जा रहा है। राष्ट्रीय राजमार्ग और राज्य राजमार्गों का तेजी से विस्तार किया जा रहा है। इस कार्य में केन्द्र शासन का भी भरपूर सहयोग मिल रहा है। प्रदेश में सैकड़ो पुल-पुलिया निर्माण करके उल्लेखनीय कार्य किया गया है। केन्द्र सरकार से हमें आश्वासन मिला है कि नेशनल हाईवे पर जितने भी फ्लाई ओवर ब्रिज प्रस्तावित हैं, उनके लिये शीघ्र ही आवश्यक बजट मिलेगा। उन्होंने कहा कि सड़क निर्माण क्षेत्र के साथ साथ अब हमें सड़क-सुरक्षा, पर्यावरण-सुधार, वृक्षारोपण और सड़कों की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान देना होगा। सड़क निर्माण में ई-टेण्डरिंग, ई-मेजरमेंट और ई-पेमेंट से क्रांतिकारी बदलाव आ रहा है। इस नवीन सुधारात्मक व्यवस्था के लिये सिविल इंजीनियर, रोड टेक्नोलॉजी विशेषज्ञ और वैज्ञानिकों की भूमिका महत्वपूर्ण रही है।
कार्यक्रम में वरिष्ठ इंजीनियर डॉ. एल.आर. बडयानी, श्री बी.के. सिंहा, श्री एस.एस. सिन्हा, श्री डी.पी.गुप्ता, श्री के.के.सरिन, श्री एन.वी. निरानी, श्री जी.डी.राय, श्री सी.वी. काण्ट, श्री सज्जनसिंह नाहर को सम्मानित किया गया तथा अतिथियों को स्मृति चिन्ह भेंट किये गये। भारतीय रोड कांग्रेस के वार्षिक प्रतिवेदन एवं स्मारिका का अतिथियों द्वारा विमोचन भी किया गया। इस अवसर पर महापौर श्रीमती मालिनी गौड़, प्रमुख सचिव लोक निर्माण विभाग श्री प्रमोद अग्रवाल, प्रमुख अभियंता लोक निर्माण श्री अखिलेश अग्रवाल थे।