भोपाल, जुलाई 2014/ प्रदेश के शहरी क्षेत्र में स्थित सभी अस्पतालों में तीस वर्ष से अधिक आयु के नागरिकों की रक्तचाप, मधुमेह और हृदय रोग संबंधी जाँच का अभियान संचालित करने पर विचार किया जा रहा है। स्वास्थ्य कार्यक्रमों की राज्य स्तरीय तिमाही बैठक में यह जानकारी दी गई। इस तरह की जाँच ओपीडी रोगियों को प्रदान की जाएगी। बैठक की अध्यक्षता प्रमुख सचिव प्रवीर कृष्ण ने की।
बैठक में बताया गया कि राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन अब राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के रुप में कार्य करते हुए शहरी इलाकों में भी ग्रामों की तरह सेवाएँ उपलब्ध करवाएगा। प्रमुख रूप से टीकाकरण, जननी सुरक्षा योजना, राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रम के क्रियान्वयन पर ध्यान दिया जाएगा। मोहल्ला आरोग्य समितियों के गठन के माध्यम से स्वास्थ्य जागरूकता बढ़ाने का कार्य भी होगा। प्रमुख सचिव ने निर्देश दिए कि सभी मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कुष्ठ रोग नियंत्रण, मातृ-शिशु स्वास्थ्य रक्षा, टीबी नियंत्रण, केंसर रोग उपचार, फ्लोरोसिस नियंत्रण , मौसमी रोगों के बचाव पर निरंतर ध्यान दें। राज्य के सभी जिलों से आए अधिकारियों को हिदायत दी गई कि अस्पताल स्वच्छ रहें, रोगियों को सुरक्षा भी मिले और साफ पीने का पानी उपलब्ध हो। इसके साथ ही भोजन की गुणवत्ता पर भी निगाह रखी जाए। ग्रामों में मलेरिया, डेंगू, डायरिया आदि का एक भी प्रकरण सामने आए तो उसे छुपाये नहीं बल्कि नियंत्रण के प्रयास करते हुए ज्यादा से ज्यादा लोगों को सेहत की रक्षा के लिए जागरूक बनाएं। गाँव के तालाब, कुएं आदि की समय-समय पर सफाई करवाने के अलावा ब्लीचिंग पाउडर और क्लोरीन के आवश्यकता के मुताबिक उपयोग के निर्देश भी दिए गए।